इंदौर जिले में पानी गिरने के बाद फसलों का जायजा लेने के निर्देश

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इंदौर जिले में लंबे अंतराल के बाद पिछले 24 घंटे से हो रही बारिश फसलों के लिए अमृत बन गई है। जिले में फसलों को नया जीवन मिला है। किसानों के चेहरे पर खुशियां लौट आई है। जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट ने रेसीडेंसी कोठी में अधिकारियों की बैठक लेकर फसलों की स्थिति की समीक्षा की। इस अवसर पर कलेक्टर डॉ. इलैयाराजा टी विशेष रूप से मौजूद थे। बैठक में कृषि, राजस्व, जल संसाधन, ग्रामीण विकास सहित अन्य संबंधित विभागों के अधिकारी भी मौजूद रहे।

बैठक में मंत्री सिलावट ने फसलों की स्थिति की समीक्षा के दौरान निर्देश दिए की सभी अधिकारी फसलों पर सतत निगरानी रखें। वे किसानों से निरंतर सवांद बनाए रखें। अधिकारी अपने-अपने क्षेत्र का सघन प्रबंध करते रहें। सभी मैदानी राजस्व और कृषि विभाग के अधिकारी संयुक्त रूप से क्षेत्र का भ्रमण करें और न्यूनतम 25-25 खेतों को देखें। वे फसलों की स्थिति का जायजा ले तथा उसकी रिपोर्ट तैयार करें।

साथ ही उन्होंने किसानों से कहा कि वे किसी भी तरह की चिंता नहीं करे। मध्य प्रदेश सरकार किसानों की हितेषी है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान एवं प्रदेश सरकार किसानों के हर सुख, दुख में साथ खड़ी है। उन्हें किसी भी तरह की दिक्कत नहीं आने दी जाएगी। हर संभव किसानों को समुचित राहत एवं सहायता प्रदान करने के लिए संकल्पित है।

जिले में इस वर्ष दो लाख 13 हजार हेक्टेयर रकबे में सोयाबीन की फसल बोई गई है। पानी आने से फसलों की स्थिति में सुधार होगा। जिन किसानों ने जल्दी पकने वाली सोयाबीन की किस्म लगाई है उनके खेतों में आंशिक रूप से नुकसान की आशंका है। विकासखंड सांवेर के कुल फसली क्षेत्र लगभग 68 हजार हेक्टेयर में से 31835 किसानों द्वारा लगभग 61 हजार हेक्टेयर में सोयाबीन की बुवाई की गई है, जिसमें से लगभग 42 हजार हेक्टेयर में जल्दी या मध्यम अवधि वाली तथा 19 हजार हेक्टेयर में देरी से पकने वाली प्रजातियों की बुवाई हुई है।

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