जिला मुख्यालय से महज 4 किलोमीटर दूर ग्राम हीरापुर में भाजपा कार्यकर्ता द्वारा शासकीय भूमि पर कब्जा करने,और किसानों के खेत के सामने गड्ढा खुदवाकर किसानों के खेत आने जाने का रास्ता बंद किए जाने का एक मामला सामने आया है। जहां स्थानीय ग्रामीणों ने भाजपा कार्यकर्ता पर पर सत्ता का दुरुपयोग कर, शासकीय जमीन हथियाने और किसानों के खेत के सामने जेसीबी से गड्ढा कराकर किसानों के खेत जाने आने जाने का रास्ता बंद किए जाने का आरोप लगाया है ।जहां उन्होंने शासकीय भूमि से कब्जा हटाने और किसानों को खेत आने जाने के लिए पुश्तैनी शासकीय मार्ग की जगह दिए जाने की मांग की है।जहां ग्रामीणों ने अपनी इस मांग को लेकर मंगलवार को कलेक्टर कार्यालय में आयोजित जनसुनवाई में एक ज्ञापन सौपा है ।उक्त मांग को लेकर सौपे गए ज्ञापन में ग्रामीणों ने बताया कि ग्राम हीरापुर में स्थित भाजपा के दबंग नेता ने शासकीय भूमि पर कब्जा कर मेन रोड से लगे खेत के सामने जेसीबी से गड्ढा खुदवा दिया है। जिससे करीब एक दर्जन से अधिक किसानों को खेत जाने में परेशानी हो रही है। कृषकों ने बताया कि उनकी पटवारी हल्का नंबर 14 हीरापुर में खेती है। जिसमें जाने के लिये बरसों से रास्ता बनी हुई है लेकिन शासकीय भूमि को अपनी बताकर रास्ते के सामने गड्ढा खोदकर खेत जाने की रास्ता बंद कर दिया गया है। खेत में फसलों में बीमारी लग गई है लेकिन हम खेत में दवाओं का छिड़काव नहीं कर पा रहे है। उन्होंने बताया कि जिस जमीन को उक्त व्यक्ति द्वारा अपनी बताया जा रहा है व शासकीय जमीन है। जिसे जल संसाधन सर्वेक्षण विभाग गांगुलपारा डिवीजन वर्ष 1955-56 में खसरा नंबर 98 मीराबेन पटेल की 18 डिसमिल जमीन एवं खसरा नंबर 57 एरिक स्वामी की लगभग 9 डिसमिल जमीन अधिग्रहित की गई थी। खसरा नंबर 57 की सरकारी 9 डिसमिल जमीन का फर्जी रजिस्ट्री कर अपने नाम कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि जहां से किसान व सुरवाही ग्राम के लोग पैदल आना-जाना करते थे। वहां टाइल्स फैक्टरी का निर्माण कर रास्ते को पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। उन्होंने आगे बताया कि इस पूरे मामले की शिकायत मंत्री बिसेन से भी की गई थी जहां मंत्री बिसेन द्वारा एसडीम को कार्यवाही करने के लिए आदेशित किया गया था। बाउजूद इसके भी संबंधित व्यक्ति पर कोई कार्यवाही नहीं की गई है। जिसके चलते आज हम कलेक्टर कार्यालय आए हैं।हमारी मांग है कि सरकारी जमीन में किये गये कब्जे को मुक्त कराकर, किसानों के खेत में आने-जाने की सुविधा बनाई जाए।