10 मई 2022 को मतदाता सूची का प्रकाशन होते ही एक बार फिर नगरी निकाय और पंचायत चुनाव को लेकर सुगबुगाहट भी शुरू होते दिखाई दे नही दे रही है। उल्टा मध्यप्रदेश के भीतर लगातार टल रहे दोनों ही चुनाव अभी और 5 से 6 महीना नहीं हो सकते मिल रहे हैं?
चुनाव में देरी होना से राजनीतिक पार्टियों द्वारा इसमें उत्साह नहीं दिखाया जा रहा है। इसके पीछे आगामी महीने में बारिश ग्रामीण अंचलों में लोगों का खेती कार्य में व्यस्त होना। बीते दिनों पंचायत चुनाव के हस्र के साथ ही प्रदेश में नगरी निकाय और पंचायत चुनाव को लेकर कानूनी दांव-पेच आरक्षण, परिसीमन, न्यायालय में अटके मामले की वजह से भी जल्द चुनाव होने की उम्मीद दिखाई नहीं दे रही। इसी कारण राजनीतिक पार्टियो में चुनाव को लेकर खामोशी को बड़ा कारण बताया जा रहा है।
मध्यप्रदेश शासन द्वारा पंचायतों का कार्यकाल पूरा होने पर व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से संचालित करने सरपंचों को प्रधान नाम दे दिया गया। नगरी क्षेत्र में ऐसा नहीं हुआ। नगर पालिका- नगर पंचायत की कमान अधिकारियों के पास जाते ही जनप्रतिनिधियों का दखल पूरी तरह से समाप्त हो गया। हर काम के लिए पार्षद पर निर्भर रहने वाली जनता बहुत अधिक परेशान है। नतीजा मुख्यमंत्री ऑनलाइन शिकायत में नाली सफाई, कचरा उठाने जैसे मामले भी शिकायत के रूप में दर्ज किए जा रहे हैं।
स्थानीय निर्वाचन शाखा बालाघाट के अधिकारी जानकारी देते बताते हैं कि उनके द्वारा 10 मई 2022 को मतदाता सूची प्रकाशन का काम पूरा कर लिया जाएगा नगरी निकाय चुनाव पंचायत चुनाव करवाए जाने की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है वरिष्ठ स्तर से आदेश मिलते ही आगामी प्रक्रिया करवाई जाएगी।
जिले के आंकड़ों पर गौर किया जाए तो बालाघाट-वारासिवनी नगरपालिका के अलावा कटंगी नगर पंचायत के अलावा 690 पंचायत चुनाव होना है।
वहीं जानकारों की बातों पर गौर किया जाए तो वर्ष 2023 में मध्यप्रदेश के भीतर विधानसभा चुनाव होने हैं। शायद उसके पहले स्थानीय चुनाव पूरे करवाए जाएं जिसके लिए सबसे बेहतर समय अक्टूबर-नवंबर 2022 का ही दिखाई दे रहा है। देखना अब यह है कि कब तक यह चुनाव हो पाते हैं?