मुख्यालय से लगभग ६ किमी. दूर ग्राम टेंगनीकला से मोहगांव (जाम) के बीच रोड में २५ जून को प्रात: ७ बजे जंगल से भटककर आया वन्य प्राणी भालू नजर आने से खेतों में कार्य कर रहे कृषकों व ग्रामीणजनों में दहशत का माहौल व्याप्त हो गया वहीं भालू के विचरण करने की खबर फैलते ही लोगों की भीड़ जमा हो गई जिसकी सूचना वन विभाग को मिलते ही तत्काल वन विभाग की टीम ने मौके पर पहुंचकर मोर्चा संभालते हुए भालू पर नजर रखी।
इस दौरान ग्रामीणजनों के शोर-शराबे से भालू खेत के समीप स्थित नाले की झाड़ी में जाकर छिप गया जिसकी जानकारी वन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को देकर भालू को पकडऩे के लिये कान्हा नेशनल पार्क से टीम बुलवाई गई जिसके पश्चात दोपहर २ बजे कान्हा नेशनल पार्क से रेस्क्यू टीम पहुंची और शाम ४ बजे डॉ.संदीप अग्रवाल के मार्गदर्शन में वन विभाग की टीम ने भालू को पकडऩे के लिये रेस्क्यू प्रारंभ किया जिसमें भालू को पकडऩे के लिये टीम ४.३० बजे करीब में पहुंची ही थी कि भालू नाले की झाड़ी से एकाएक बाहर निकला और खेतों से सरपट दौड़ते हुए ग्राम बबरिया की ओर गया जिस पर वन अमले के द्वारा कुछ दूर तक पीछा किया गया लेकिन कुछ ही देर में भालू नजरों से ओझल हो गया लेकिन भालू जब बबरिया के समीप पहुंचा तो खेतों में कार्य कर रहे कृषकों में डर का माहौल निर्मित हो गया और आनन-फानन में शोर मचाते हुए इधर-उधर भागने लगे इसी बीच भालू ने एक कृषक पर हमला कर दिया और ग्राम बबरिया निवासी श्रीमती चेतनबाई गौतम के मकान में पीछे के दरवाजे से घुस गया जहां घर के अंदर कोई मौजूद नहीं थे इसलिये तत्काल दरवाजे को बंद दिया गया जहां वन विभाग विभाग की टीम ने तत्काल भालू को पकडऩे के लिये रेस्क्यू प्रारंभ कर कान्हा से पहुंची टीम के द्वारा शाम ५.३० बजे ट्रंकुलाइजेशन किया गया, इसी बीच भालू अचानक मकान से निकलकर बाहर आ गया और एक वन कर्मचारी पर हमला कर दिये जाने से वह घायल हो गया जिसके बाद इंजेक्शन का प्रभाव होने से भालू धीरे-धीरे अचेत हो गया और शाम ६.१५ बजे वन विभाग की टीम ने भालू पर काबू पा लिया, इस तरह लगभग १२ घंटे की भारी मशक्कत के बाद भालू वन विभाग की पकड़ में आया जिसे वनविभाग द्वारा अपने कब्जे लेकर स्वास्थ्य परीक्षण के बाद देर शाम सोनेवानी के जंगल लेजाकर सुरक्षित छोड़ दिया गया।
इस दौरान ग्राम बबरिया में ग्रामीणों की भारी भीड़ जमा हो गई थी जिसे पुलिस प्रशासन द्वारा समझाइश देकर भीड़ को नियंत्रित किया गया। इस कार्यवाही में फारेस्ट कटंगी एसडीओ अमित पटौदी, थाना प्रभारी रघुनाथ खातरकर, लालबर्रा वन परिक्षेत्र अधिकारी नितिन पवार, वारासिवनी परिक्षेत्र अधिकारी यशपाल मेहरा, निगम कार्पोरेशन रेंज प्रभारी रवि गेडाम, परिक्षेत्र सहायक भुपेन्द्र वासनिक, विजय कुमरे, मत्तम नगपुरे, श्री चौधरी, मोहपाल उइके, श्री घोरमारे एवं पूर्व जिला मानसेवी वन्य जीव अभिरक्षक ज्ञानचंद शर्मा सहित वनविभाग के अधिकारी-कर्मचारियों का सराहनीय योगदान रहा।
स्वास्थ्य परीक्षण कर जंगल में छोड़ा गया – अमित
पद्मेश से चर्चा में वन विभाग कटंगी एसडीओ अमित पटौती ने बताया कि प्रात: सूचना मिली कि एक भालू मोहगांव (जाम) के पास जंंगल से भटकर आ गया है जिसको पकडऩे के लिये वरिष्ठ अधिकारियों को सूचना देकर कान्हा राष्ट्रीय उद्यान से रेस्क्यू टीम बुलवाई गई जिनके आने के बाद रेस्क्यू टीम के द्वारा जायजा लिया जा रहा था तभी भालू वहां से भागकर ग्राम बबरिया के एक मकान में जा घुस गया जिसे काफी संघर्ष के बाद पकड़ लिया गया और स्वास्थ्य परीक्षण के बाद सुरक्षित जंगल में छोड़ दिया गया।