पिछले 3 सालों से भोपाल नगर की सड़कें लगातार खस्ता हालत में हैं। हर बरसात के बाद इनमें सुधार कार्य और मरम्मत और निर्माण में अरबों रुपए खर्च कर दिए गए। इसके बाद भी सड़कों की हालत में कोई सुधार नहीं हुआ। नई सड़कें भी 6 माह के अंदर दम तोड़ देती हैं। केवल मरम्मत के नाम पर पिछले 3 सालों में 70 करोड़ खर्च कर दिए गए। फिर भी सड़के चलने लायक नहीं हैं। कहीं-कहीं पर तो गड्ढों के बीच में सड़कें हैं।
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के विभिन्न स्थानों की सड़क को देखने के बाद बाहर से भोपाल आए हुए लोग कहने लगते हैं कि जैसे वह कोई गांव खेड़े में आ गए हैं।नगर निगम भोपाल में सड़क निर्माण और मरम्मत के नाम पर भारी भ्रष्टाचार और घोटाले हो रहे हैं। जिम्मेदार ठेकेदारों और अधिकारियों पर कोई कार्यवाही नहीं होने से भोपाल की सड़कों का अब भगवान ही मालिक है।