17 लोगों को जारी किए थे अतिक्रमण हटाने के नोटिस

0

बरसात के पूर्व निचले इलाकों में होने वाली जलभराव की समस्या से निजात दिलाने और नालों के माध्यम से पानी निकासी के व्यापक इंतजाम बनाने को लेकर नपा द्वारा की जा रही अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही अब सवालो के घेरे में है। जहा नपा द्वारा की जा रही अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही को लेकर लगातार सवाल उठ रहे हैं।वही नालों के किनारे लोगों द्वारा किए गए पक्के निर्माण को हटाने में नगरी प्रशासन नाकाम नजर आ रहा है जिसका एक नजारा बुधवार को नगर के वार्ड नंबर 4 और वार्ड नंबर 5 के समीप से गुजरने वाले नाले के किनारे बनी कॉलोनी में देखने को मिला। जहां अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही को लेकर नगर पालिका बालाघाट द्वारा नाला की भूमि पर अवैध निर्माण करने वाले 17 लोगों को नोटिस जारी किए गए थे ,वार्ड नंबर 4 और 5 के 17 लोगों को जारी किए गए नोटिस में अतिक्रमण हटाने के लिए उन्हें 24 घंटों की मोहलत दी गई थी। जहां 24 घंटे के भीतर अतिक्रमण ना हटाने पर बुलडोजर कार्रवाई की जाने की चेतावनी दी गई थी। जब नपा के नोटिस पर भी लोगों ने अपने अवैध निर्माण नाला किनारे से नहीं हटाया ,तो उस अवैध निर्माण को हटाकर नाली से पानी निकासी की व्यवस्था बनाने के लिए आज बुधवार को नगरपालिका, राजस्व और पुलिस प्रशासन का भारी-भरकम अमला अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही के लिए वार्ड नंबर 4 /5 पहुंचा. जहां प्रशासनिक अधिकारियों कर्मचारियों के भारी-भरकम अमले ने नोटिस जारी करने वाले सभी 17 लोगों को अतिक्रमण हटाने की जगह महज तीन या चार लोगों के घर के पीछे बाउंड्रीवाल का अतिक्रमण हटाया और अन्य लोगों पर कार्यवाही किए बिना ही प्रशासनिक अमला बैरंग लौट आया। जहां सभी अतिक्रमणकारियों का अतिक्रमण ना हटाने पूर्व में चिन्हाकित किए गए अतिक्रमण पर कार्यवाही ना करने को लेकर कोई इस कार्यवाही को थूक पालिस की संज्ञा देकर नपा द्वारा की गई इस कार्यवाही को मुंह देखी कारवाही बता रहा है तो इस कार्यवाही को वैधानिक कार्यवाही ना बताते हुए इसका विरोध किया जा रहा है ।वही नपा द्वारा पानी निकासी की व्यवस्था के लिए चार पांच मकानों के अतिक्रमण हटाने की बात कही जा रही है।

इन लोगों को जारी किया गया था नोटिस
प्राप्त जानकारी के अनुसार नाला किनारे मकान दुकान का निर्माण कर नाला की भूमि में अतिक्रमण करने वाले 17 लोगों का अतिक्रमण चिन्हित कर उनका अतिक्रमण हटाने के लिए आज प्रशासनिक अधिकारियों कर्मचारियों का भारी भरकम अमला मौका स्थल पर पहुंचा था ।जहां वार्ड नंबर 4 सुषमा लेआउट निवासी शंकर मोटवानी, श्री मेश्राम ,राजेश यादव ,वार्ड नंबर 5 लहरी नगर निवासी बाबूलाल सराठे, शुभांगी अवलक, जयवंता टांडी,श्री चौरागढे, चहक बिसेन, यशोदा रावडे, रागिनी चल्स, अंजना साहू, बीएल,पांचे, एसएल वासनिक, संजय कावरे, अरविंद कावरे, संजीत कुमार डे और धीरज सुराना को नोटिस जारी कर अतिक्रमण हटाने के निर्देश दिए गए थे। जहां आज की कार्यवाही में केवल सुमित राय और रागनी चल्स सहित एक अन्य द्वारा नाले किनारे किए गए बाउंड्री वाल निर्माण को हटाया गया और यह अमला बैरंग लौटाया। जबकि अन्य लोगो के अतिक्रमण हटाने की कोई कार्यवाही नहीं की गई ।

जेसीबी से नहीं बनी बात ,तो बुलाई थी पोकलेन मशीन
आपको बताए कि प्रशासनिक अमला जिस भारी-भरकम दल बल के साथ मौके पर अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही करने पहुंचा था, उसे देख ऐसा लग रहा था मानो आज सभी लोगों द्वारा किए गए अवैध निर्माण को हटा दिया जाएगा। इसके लिए नगर पालिका अधिकारी अतिक्रमण को हटाने के लिए जेसीबी मशीन अपने साथ ले गई थे।लेकिन जब जेसीबी मशीन से बात नहीं बनी तो नपा ने पोकलेन मशीन बुलाई और अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू की। जिसे देख ऐसा लग रहा था कि पानी निकासी की व्यापक व्यवस्था आज की आज बना दी जाएगी। लेकिन वहां ऐसा कुछ भी देखने को नहीं मिला। जहाँ इस भारी-भरकम अमले ने खानापूर्ति के लिए कुछ बाउंड्रीवाल और निर्माण को हटा दिया और सभी अवैध निर्माण पर बिना कोई कार्यवाही करें यह अमला बैरंग लौटा आया।

छुटमुट होता रहा विरोध
अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही के दौरान प्रशासनिक अधिकारियों को छुटपुट विरोध का सामना भी करना पड़ा। जहां ज्यादातर लोगों का मानना था कि कॉलोनी वाले ने उन्हें जितनी जगह दी है उतनी जगह में ही उन्होंने मकान बनाया है वही कई लोगों को कॉलोनी वाले ने ही मकान बना कर दिया है। ऐसे में वहां अतिक्रमण होना लोगों के समझ से परे था ।जिसको लेकर स्थानीय लोगों और प्रशासनिक अमले के बीच हल्की नोकझोंक देखने को मिली

कही कम तो कही ज्यादा है नाले की चौड़ाई
बताया जा रहा है कि उक्त नाला की चौड़ाई कहीं 50, कही तो कही 30 फीट है। इस नाले से वार्ड नंबर 4 और 5 का बारिश का पानी सरेखा होते हुये निकलता है। लेकिन इस नाले पर यहां के रहवासियों ने अतिक्रमण कर लिया है। जिससे बारिश के समय में पानी निकासी नहीं हो पाने से इस क्षेत्र में जलभराव की स्थिति निर्मित हो जाती है। नपा के द्वारा यहां के रहवासियों को अतिक्रमण हटाने नोटिस दिया गया था लेकिन अतिक्रमणकारियों द्वारा स्वयं से अतिक्रमण नहीं हटाने पर बुधवार को राजस्व व नपा के अमले द्वारा मशीन से अतिक्रमण तोडऩे की कार्यवाही की गई। बताया गया कि आरआई व पटवारी द्वारा पूर्व में नाला की भूमि से नाप जोप कर अतिक्रमण की भूमि को चिन्हित कर अतिक्रमण तोडऩे निशान लगाया गया था। लेकिन पूर्व में निशान लगाए गए अतिक्रमण को नहीं तोड़ा गया और छुटपुट कार्यवाही कर यह हमला बैरंग लौटाया।इस अवसर पर एसडीएम गोपाल कुमार सोनी, तहसीलदार नितिन चौधरी, सीएसपी अंजुल अयंक मिश्र मुख्य नगरपालिका अधिकारी निशांत श्रीवास्तव आर आई तिवरे सहित बड़ी संख्या में नपा का अमला व कोतवाली थाना, ग्रामीण थाना एवं नवेगांव थाना का पुलिस बल मौजूद रहा।

यह मुंह देखी कार्यवाही है -सुमित राय
मामले को लेकर की गई चर्चा के दौरान लहरी नगर निवासी सुमित कुमार राय ने बताया कि हमे 3 जून को अतिक्रमण हटाने का नोटिस मिला था ।हमें अतिक्रमण हटाने के लिए पर्याप्त समय भी नहीं दिया और अतिक्रमण हटाने के लिए आ गए। हम इस कार्यवाही से संतुष्ट नहीं है ।क्योंकि नोटिस 17 लोगों को दिए गए थे ,लेकिन सभी पर यह कार्यवाही नहीं की गई है। इसके अलावा केवल 17 ही नहीं बल्कि अन्य लोग भी हैं जिन्होंने नाला किनारे अतिक्रमण किया है। सुराना का भी निर्माण अवैध निर्माण नजर आ रहा है, लेकिन उस पर कोई कार्यवाही नहीं हुई ।अभी तो सिर्फ दो मकानों पर ही कार्यवाही की गई है बाकी लोगों को छोड़ दिया गया है। उनके ऊपर कोई कार्यवाही नहीं की गई है कॉलोनी वाले के मकान को भी छोड़ दिया गया है हमें ऐसा लग रहा है यह सिर्फ मुह देखी कार्यवाही की जा रही है।

पानी निकासी की व्यवस्था बनाने की जा रही कार्यवाही- निशांत श्रीवास्तव
वही मामले को लेकर की गई चर्चा के दौरान मुख्य नगरपालिका अधिकारी निशांत श्रीवास्तव ने बताया कि वार्ड नंबर 4 और 5 के पास से एक नाला गया है जो 30 से 50 फीट चौड़ा है जहां पर आजू-बाजू करीब 10 फीट की जगह पर अतिक्रमण किया गया है जिसके चलते बरसात के दिनों में इन क्षेत्रों में पानी हो जाता है बरसात के पानी की निकासी नहीं हो पाती जहां पानी की निकासी व्यवस्था बनाने के लिए आज अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की जा रही है। इसके लिए हमने 17 लोगों को नोटिस जारी किया था लेकिन उन्होंने अतिक्रमण नहीं हटाया। जिस समय यह कॉलोनी बनी थी उस समय कॉलोनी बनाकर बेचने वाले ने नगरपलिका से कोई अनुमति नहीं ली थी, कॉलोनी अवैध थी इसीलिए इस पर किसी ने कोई एक्शन नहीं लिया लेकिन अब पानी निकासी की व्यवस्था बनाने के लिए अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही की जा रही है ताकि बरसात के दिनों में लोगों को जलभराव से मुक्ति मिल सके ।कुछ लोग इस कार्यवाही का विरोध कर रहे हैं जिस पर उन्हें समझाइश दी गई है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here