पीओके में चीन सीमा के पास भीषण हमले से डरा ड्रैगन, सीपीईसी की लाइफलाइन पर वार, सहमा पाकिस्‍तान

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चीन की सीमा के पास पीओके के गिलगित बाल्टिस्‍तान इलाके में कराकोरम हाइवे पर हुए हमले ने जिनपिंग सरकार को हिलाकर रख दिया है। इस हमले में 10 लोगों की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हुए थे। यह कराकोरम हाइवे ही चीन को पाकिस्‍तान से जोड़ता है।

पाकिस्‍तान अधिकृत कश्‍मीर के पहाड़ों से घिरे गिलगित बाल्टिस्‍तान इलाके में चीन सीमा के पास पिछले दिनों भीषण आतंकी हमले ने जिनपिंग सरकार को दहशत में ला दिया है। पिछले सप्‍ताह बंदूकधारियों ने चीन और पाकिस्‍तान को जोड़ने वाले बेहद अहम कराकोरम हाइवे से जा रही एक यात्री बस पर जोरदार गोलीबारी करके 10 लोगों को मौत के घाट उतार दिया। मारे गए लोगों में पाकिस्‍तानी सैनिक भी शामिल हैं। यह हमला चीन की सीमा से मात्र 400 किमी की दूरी पर हुआ है जिससे ड्रैगन दशहत में आ गया है। दरअसल, चीन अपने ड्रीम प्रॉजेक्‍ट बीआरआई के तहत सीपीईसी परियोजना को बना रहा है और उसने अब तक 50 अरब डॉलर का निवेश कंगाल पाकिस्‍तान में कर भी दिया है। कराकोरम हाइवे सीपीईसी परियोजना की लाइफलाइन है।

इस हमले के बाद अब चीन का पाकिस्‍तान में सुरक्षा को लेकर डर और ज्‍यादा बढ़ गया है। देश के बलूचिस्‍तान प्रांत में पहले ही चीन के नागरिकों पर बलूचों और टीटीपी के कई जानलेवा हमले हो चुके हैं। वहीं विशेषज्ञ इस कराकोरम राजमार्ग को निशाना बनाने को लेकर चिंतित हैं, क्योंकि इसे पाकिस्तान-चीन के बीच संबंधों की धुरी के रूप में देखा जाता है। चीन के शिंजियांग प्रांत को पाकिस्‍तान के ग्‍वादर बंदरगाह से जोड़ने वाले इस हाइवे को चीन के सहयोग से बनाया गया था और साल 1986 में इसे यातायात के लिए खोल दिया गया था। हाल ही में, दोनों देशों ने चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) के तहत राजमार्ग में विस्‍तार शामिल किया।

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