इंदौर, Indore News। मार्डन ग्रुप आफ इंस्टीट्यूट इंदौर द्वारा स्वच्छता अभियान में योगदान हेतु एक और अभिनव प्रयोग किया गया गया। महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर मार्डन इंटरनेशनल स्कूल के विद्यार्थियों एवं शिक्षकों द्वारा कागज एवं अन्य अनुपयोगी वस्तुओं के रीसाइकल और रीयूज के द्वारा सुंदर शिवलिंग का निर्माण किया गया। शिवलिंग के आस-पास की साज सज्जा भी वेस्ट मटेरियल के रीयूज के द्वारा की गई है। स्कूल की प्रिंसिपल प्रद्न्या कस्तूरे ने बताया कि पर्यावरण की सुरक्षा एवं नवाचार दोनों आवश्यक है।
संस्था के समूह निदेशक व स्वच्छ इंदौर के ब्रांड एंबेसडर डा. पुनीत द्विवेदी ने विद्यार्थियों को ऐसे अन्य अभिनव प्रयोगों को करने हेतु प्रेरित किया। इस अनूठे निर्माण के लिए शिक्षक दिव्या लोटारकर, सपना जाट, पद्मिनी पाल एवं शैलेंद्र यादव को सराहा गया। ऐसे ही विद्यार्थियों को कला, स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण के लिए सम्मानित किया गया। थ्री आर शिवलिंग का पूजन कर स्वच्छता के मंत्र को जन-जन तक पहुचाने के लिए संस्थान के शिक्षकों और विद्यार्थियों ने संकल्प लिया। संस्था के अध्यक्ष डा. अनिल खरया एवं उपाध्यक्ष शांतनु खरया ने विद्यार्थियों एवं शिक्षकों को थ्री आर शिवलिंग बनाने के लिए बधाई दी।
घर में काम नहीं आने वाली सामग्री का कर सकते हैं उपयोग
स्वच्छ इंदौर के ब्रांड एंबेसडर डा. पुनित ने बताया कि कई ऐसी सामग्री होती है जिसका हम रीयूज कर कई सामग्री बना सकते हैं। इसमें कागज, खिलौने, इलेक्ट्रानिक उपकरण, प्लास्टिक की सामग्री का उपयोग कर सकते हैं। हमारे संस्थान में शिक्षकों और विद्यार्थियों ने पहले काम में नहीं आने वाली सामग्री की तलाश की। सभी अपने घर से कुछ सामग्री लाए और सभी ने मिलकर मूर्ति बनाई। पढ़ाई के साथ इस तरह की शिक्षा विद्यार्थियों को बचपन से ही दी जाना चाहिए। इससे हम शहर और अपने आसपास के क्षेत्रों को ज्यादा अच्छे से स्वच्छ रख सकते हैं। हम इससे अंदाजा भी हो जाता है कि घर की किन सामग्री को रिसाइकल और रीयजू किया जा सकता है। इसके पहले भी संस्थान के विद्यार्थी कई इनोवेशन कर चुके हैं। विद्यार्थियों द्वारा बनाई गई मूर्ति का हम ज्यादा से ज्यादा प्रचार-प्रसार करेंगे ताकि अन्य विद्यार्थियों को भी इससे प्रेरणा मिले और वे भी उपयोग में नहीं आने वाली सामग्री का अच्छे से उपयोग कर पाए।