जयपुर: असम में मतदान पूरा होने के बाद अब कांग्रेस को अपने उम्मीदवारों की चिंता होने लगी है। पार्टी ने मतगणना होने से पहले ही कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले कांग्रेस प्रत्याशियों को जयपुर शिफ्ट किया गया है जहां इन सभी को जयपुर के प्रसिद्ध फेयर माउंट होटल में ठहराया गया है। दरअसल कांग्रेस मतगणना के बाद किसी भी जोड़- तोड़ की राजनीति से बढ़ने के लिए एहतियात के तौर पर यह कदम उठा रही है।
गोवा में बनते- बनते रह गई थी सरकार
ये सभी विधायक 2 मई तक जयपुर में ही रूकेंगे और 2 मई को नतीजे घोषित होने के बाद स्थिति के मुताबिक इनकी घर वापसी होगी। दरअसल पूर्व में कांग्रेस को गोवा में सबसे बड़ी पार्टी होने के बाद भी सरकार बनाने का मौका नहीं मिल सका था। 2017 में गोवा में सबसे बड़ी पार्टी होने के बावजूद कांग्रेस सरकार बनाने में विफल रही थी। तब कांग्रेस विधायक विश्वजीत राणे ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के ‘कुप्रबंधन’ को सरकार न बनने की वजह बताया था। वहीं तब भाजपा ने रातोंरात अपने वरिष्ठ नेताओं को गोवा भेजकर सरकार बनाने का रास्ता साफ किया था।
सोनोवाल को है सरकार बनने की आशा
असम में 126 सदस्यीय विधानसभा के लिये तीन चरणों में मतदान हुआ था। असम के मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल ने बृहस्पतिवार को भरोसा जताया कि भाजपा हाल में संपन्न विधानसभा चुनाव में जीत हासिल करेगी और लगातार दूसरी बार सरकार बनाएगी क्योंकि ‘लोग पिछले पांच वर्षों में सकारात्मक कार्यों से खुश हैं। भाजपा दूसरी बार असम में सरकार बनाएगी। लोग असम में भूमि, संस्कृति, विरासत, भाषा के संरक्षण के लिए हमारे कार्यों से खुश हैं। उन्होंने चुनाव प्रक्रिया में उत्साह के साथ भागीदारी की है।’
असम की 126 विधानसभा सीटों पर तीन चरणों में हुए चुनावों में कुल 82.04 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया। एक चुनाव अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी। राज्य में एक अप्रैल को दूसरे चरण में 80.96 प्रतिशत और पहले चरण में 79.33 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया।