ग्राम लीलामा निवासी विजय पिता धनलाल चौरावार उम्र ३० साल की नाले में डूबने से दर्दनाक मौत हो गई है। मृतक 11 बजे के लगभग लीलामा से भौरगड़ सायकल से बैंक पेंशन निकालने के कार्य से जा रहा था तभी लीलामा से भौरगड़ मार्ग पर पुल पार करते समय नाले में बह जाने से उसकी दर्दनाक मौत हो गई। सूचना पर खैरलांजी पुलिस ने आकर शव का पोस्टमार्टम करवाकर शव परिजनों को सौंप दिया गया। बताया जाता है कि मृतक का थैला पानी में गिर गया था जिसे निकालने वह नीचे झुका जिससे उसका संतुलन बिगड़ गया और वह नाले में गिर गया। हालांकि इस दौरान नाले पर कुछ लोगों के होने के कारण कुछ दूरी पर ही उसके बहते शव को बरामद कर लिया गया। लेकिन तब तक पानी मे डूबने से उसकी जान जा चुकी थी। मामलें में पुलिस ने मर्ग कायम कर जांच में लिया है।
20 ग्राम पंचायतों की जनता रोजाना करती है आना जाना
ग्रामीणों के अनुसार प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना से बने इस मार्ग पर पुल की कम ऊंचाई और पुल के दोनों ओर रेलिंग नही होने से 3 से 4 मौतें पूर्व में भी इस पुल पर हो चुकी है। ऐसा नहीं कि जनता द्वारा पुल की ऊंचाई बड़ाई जाने को लेकर जनप्रतिनिधियों से मांग नही की गई है। पूर्व और वर्तमान सभी जनप्रतिनिधियों से इस पुल की ऊंचाई बड़ाने को लेकर लीलामा सहित आसपास के ग्रामों की जनता ने मांग की है। किंतु किसी भी जनप्रतिनिधि द्वारा इस समस्या का समाधान आज तक नही किया है। ज्ञात हो कि इस मार्ग से 15 से 20 ग्राम पंचायतों की जनता रोजाना तहसील मुख्यालय खैरलांजी और भौरगड़ के लिए आना जाना करती है। साथ ही स्कूली बच्चे भी रोजाना आना जाना करते है। लेकिन बारिश के दिनों में हल्की सी बारिश में भी पुल पर पानी बहुत जल्दी एकत्र हो जाने से आवागमन बाधित हो जाता है। जिससे ग्राम लीलामा और भौरगड़ के बीच संपर्क टूट जाने से यह ग्राम एक प्रकार से टापू में तब्दील हो जाता है। जनता को 10 से 15 किलोमीटर फेरा चलकर कटोरी, कुम्हली होते हुए भौरगड़ आना जाना पड़ता है। ऐसे में सांसद और क्षेत्रीय विधायकों को चाहिए कि वह इस पुल का निर्माण कर जनता को हो रही दिक्कतों से निजात दिलाने में जनता की मदद करें।
जनता का आक्रोश पुलिस ने किया शंात
घटना से जनता में आक्रोश के कारण पुलिस और जनता के बीच कुछ कहासुनी होने की बात भी सामने आ रही है। लेकिन पुलिस की समझाइश पर मामला शांत हो गया। जनता पुल नही बनने से नाराज होकर शासन प्रशासन को चेताने के उद्देश्य से विरोध प्रदर्शन करने की बात पर आमादा थी लेकिन पुलिस के समझाने पर बाद में मामला शांत हो गया।
बारिश में कभी भी हो जाता है आवागमन बाधित – सुशील तुरकर
ग्रामीण सुशील तुरकर के बताया की इस नाले में मिरगपुर तक बहुत से ग्रामों का पानी आता है। साथ ही जब बावनथड़ी नदी उफ ान पर होती है तो पानी उल्टा आता है और इस नाले में अधिक बड़ जाता है। पुल की ऊंचाई वर्षों से जस की तस होने के कारण इस मार्ग पर बारिश में कभी भी आवागमन बाधित हो जाता है। इसके लिए जनता द्वारा पूर्व विधायक केडी. देशमुख और वर्तमान विधायक तामलाल सहारे से भी मांग की गई है लेकिन कोई हल नहीं निकल पाया है। जनता विरोध करने की सोच रहे थे लेकिन पुलिस ने समझाया कि यह ठीक नहीं है। भविष्य में इस मार्ग को लेकर जनप्रतिनिधियों से सवाल जवाब कर उनका बहिष्कार भी किया जा सकता है। इसके बाद भी कार्य नही हुआ तो आगामी विधानसभा और लोकसभा चुनाव का बहिष्कार किया जायेगा।
विधायक ने प्रयास किया लेकिन स्वीकृति नही मिली – विनय जायसवाल
मंडल कांग्रेस अध्यक्ष विनय जायसवाल ने बताया कि इस संबंध में क्षेत्र के विधायक तामलाल सहारे ने मुख्यमंत्री से मांग की है लेकिन विपक्ष के विधायक होने के कारण इस कार्य को सफ लता प्राप्त नही हो पाई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को चाहिए कि वह ऐसे कार्य में भाई भतीजावाद नही करते हुए ऐसे जनहित के कार्यों को प्राथमिकता के साथ पूरा करने में मदद करें। जिससे कि इस प्रकार की असामयिक मृत्यु और घटनाओं को समय रहते रोका जा सके।
पुल की मांग की है – गुनाराम बघेले
जनपद पंचायत खैरलांजी अध्यक्ष प्रतिनिधि गुनाराम बघेले ने बताया कि वह घटना की सूचना पर लीलामा पहुंचे थे। काफ ी दुखद घटना है। इस पुल की ऊंचाई बड़ाने को लेकर मांग पत्र सांसद को दिया गया है। जिसमें अन्य मांगों के साथ इस पुल की भी मांग की गई है। भविष्य में अन्य जनप्रतिनिधियों से भी मदद ली जायेगी।