मौलाना अरशद मदनी के बयान से भड़के धर्मगुरु:जमीयत के मंच से कहा- ओम और अल्लाह एक; विरोध में जैन मुनि ने मंच छोड़ा

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दिल्ली के राम लीला मैदान में रविवार को जमीयत-ए-उलेमा-ए-हिंद के प्रोग्राम में मौलाना अरशद मदनी ने मोहन भागवत के बयान पर जवाब दिया। मौलाना मदनी ने कहा कि तुम्हारे पूर्वज हिंदू नहीं, मनु थे यानी आदम। मदनी ने कहा कि ओम और अल्लाह एक है।

मदनी के इस बयान पर कई धर्मों के गुरुओं ने आपत्ति जताई और विरोध में मंच छोड़ दिया। जमीयत-ए-उलेमा-ए-हिंद के प्रोग्राम में मदनी संघ प्रमुख मोहन भागवत के उस बयान का जवाब दे रहे थे, जिसमें भागवत ने कहा था कि हिंदुओं और मुसलमानों के पूर्वज एक जैसे हैं।

जैन गुरु ने विरोध किया, कई संत उठकर चले गए
मौलाना मदनी के बयान का जैन मुुनि लोकेश ने विरोध किया। उन्होंने कहा कि यह अधिवेशन लोगों को जोड़ने के लिए हो रहा है। ऐसे में इस तरह का बयान कहां जायज है। मुनि लोकेश ने मंच पर यह बात कही। इसके बाद वे कार्यक्रम से उठकर चले गए। उनके बाद कई अन्य धर्मों के संतों ने भी कार्यक्रम छोड़ दिया।

मदनी बोले- देश में शिक्षा का भगवाकरण हो रहा, ये स्वीकार नहीं
रिपोर्ट्स के मुताबिक, मदनी ने कार्यक्रम में कहा कि पैगंबर को अपमान मुस्लिम मंजूर नहीं करेंगे। मोहम्मद साहब के खिलाफ बयान नहीं दिए जाने चाहिए। भारत में अभी शिक्षा का भगवाकरण किया जा रहा है और ये उचित नहीं है। दूसरे धर्मों की किताबें थोपी नहीं जानी चाहिए। ये संविधान के खिलाफ है।

जमीयत चीफ महमूद मदनी के चाचा हैं मौलाना अरशद
जमीयत उलमा-ए-हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना असद मदनी थे। उनका 2008 में इंतकाल हो गया था। इसके बाद जमीयत की अगुवाई को लेकर जमीयत उलेमा-ए-हिंद के मौजूदा चीफ महमूद मदनी का अपने चाचा मौलाना अरशद मदनी से विवाद हो गया। लंबे झगड़े के बाद जमीयत दो हिस्सों में बंट गई। एक गुट की अगुवाई महमूद मदनी और दूसरे गुट की अगुवाई अरशद मदनी करने लगे। दोनों ने अपनी-अपनी जमीयत उलमा-ए-हिंद का राष्ट्रीय अध्यक्ष पद ले लिया था। हालांकि, पिछले साल दोनों में सुलह हो गई थी।

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